Breaking News

क्वारेटाई सेन्टर में प्रवासी श्रमिक रामायाण, महाभारत और कृष्णा जैसे धार्मिक सीरियल देखकर ले रहे है घर जैसा आंनद

रोग-प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने क्वारेटाईन सेन्टर में प्रवासी श्रमिकों को कराया जा रहा योग अभ्यास

 दिन में एक समय तुलसी और काली मीर्च की काढ़ा भी

प्रवासी श्रमिकों ने कहा-घर से भी अच्छा ख्याल रखा रहा है इस क्वारेटाईन सेंन्टर में

कवर्धा | 31 मई 2020। कबीरधाम जिले के शासकीय अनुसूचित जाति आदर्श कन्या आश्रम क्वारेटाईन सेन्टर में प्रवासी श्रमिकों के लिए विशेष ख्याल रहा जा रहा है। कोरोना जैसे संक्रामक रोग से लड़ने के लिए प्रवासी श्रमिकों में रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए सुबह और शाम को योग अभ्यास कराया जा रहा है। मानसिक तनाव को दूर करने के लिए टेलीविजन की व्यवस्था भी की गई है, जहां क्वारेटाईन में रह रहे प्रवासी श्रमिक रामायाण, महाभारत और कृष्णा जैसे धार्मिक धारावाहिक देखकर उनमें सकारात्मक उर्जा बढ़ाने का भी प्रयास किए जा रहे है। गले में खरास तथा मामूली सर्दी खासी को दूर करने के लिए आयुर्वेदिक काढ़ा का प्रयोग किया रहा है। दिन में एक बार प्रवासी श्रमिकों के तुलसी और कालीमिर्च का काढ़ा बनाकर दिए जा रहे है। इस क्वारेटाईन सेन्टर में रह रहे प्रवासी श्रमिकों ने कहा कि घर से भी अच्छा ख्याल यहां रखा जा रहा है। श्रमिकों ने बताया कि यहां सुबह शाम दो समय नास्ता चाय और दोपहर और रात को भरपेट भोजन,दाल चावल सब्जी,पापड़ और आम के आचार ने दूसरे देश मे मिले दर्द को कम कर दिया है।
प्रवासी श्रमिकों ने बताया कि कोरोना वायरस के रोकथाम के लिए पूरे देश में चैथे चरण का लाकडाउन चल रहा था। हम सब 47 लोग उत्तर प्रदेश के लखनाउ में फंसे हुए थे। यहां आने के लिए मुख्यमंत्री भूपेष बघेल और कवर्धा विधायक श्री मोहम्मद अकबर ने मदद मांगी थी। मुख्यमंत्री के प्रयासों से विशेष ट्रेन से हम बस छत्तीसगढ़ के भाटापारा स्टेशन पहुंचे। पहुंचने से पहले वहां कबीरधाम जिले के अधिकारी-कर्मचारी स्टेशन में मिले। वहां से फिर बस के माध्यम से अपने गांव पहुंचे। हम सब डर रहे थे कि अब क्या होगा। सीधे घर जाएंगे तो हो सकता है हमारे माध्यम से कोरोना हमारे गांव में पहुंच जाएगा। तब हमे नहीं मालूम था कि क्वारेटाईन क्या है। बस में अधिकारियों बताया था सब को 14 दिनों की क्वारेटाईन में रखा जाएगा। हम सब सोच रहे थे कि क्वारेटाईन क्या है। कही हम लोगों को कोई सजा तो नही मिलेगी। गांव आने के बाद इंदौरी के सरकारी आश्रम के सामने बस रूकी। यहां पहुंचे ही जैसे गांव में पहुना को लोटा में पैर धाने के पानी दिया जाता है वैसी ही यहां बाल्टी भर पानी दिया गया। साबुन से हाथ पैर धाने के बाद सेनेटाईजर से पैरों में छिड़काव किया गया। फिर सभी लोगों को अलग-अलग बिस्तर दिया गया। सुबह होते ही ब्रस जीभी और छोटा कोलगेट का पाउज दिया गया हैं। बतालाया गया  कि सब को अपना-अपना मंजन उपयोग करना है। किसी का मंजन ब्रस में नही लगाना है। यहां बताया गया कि कोरोना बीमारी क्या है और कैसे यह फैलती है। इस संक्रामक बीमारी के बचाव के उपाय भी बताए गए।
पूणे से आए 24 प्रवासी श्रमिकों ने बताया कि हम सब यहां बहुत खुश है। सुबह चाय के साथ पोहा का नास्ता मिलता हैं। शाम को तुलती और कालीमिर्च का काढ़ा पीने से गले में हो रही खिचखिच दूर हो गई। दोपहर और रात को भरपेट भोजन दिए जा रहे है। बैगलूर से आए 4 श्रमिको ने बताया कि आम का आचार और कभी-कभी पुडी मिलने से जो दर्द हम लोगों ने परदेश जाकर मिला था वह सब दूर हो गया।  हर दो दिन में एक डाक्टर यहां आकर सबकी जानकरी लेते है और अपने कापी में नोट भी करते है। श्रमिकों ने बताया कि मनोरंजन के लिए क्वारेटाईन सेन्टर में एक टीवी भी है,जहां रामायाण,महाभारत और कृष्णा जैसे धार्मिक धारावाहिक देखकर बहुत अच्च्छा लगता है।
शासकीय अनुसूचित जाति आदर्श कन्या आश्रम क्वारेटाईन सेन्टर के प्रभारी अधीक्षिका श्रीमती चम्पादेवी बारते ने बताया कि जिला प्रशासन के निर्देश पर इस आश्रम को क्वारेटाईन सेन्टर बनाया गया है। अब तक यहां 218 प्रवासी श्रमिक आ चुके हैं,जिसमे ंसे 100 प्रवासी श्रमिकों को चिकित्सका परामर्श तथा अधिकारियों के निर्देश मिलने के बाद उनके घर जाने के लिए दिया गया। वर्तमान में 180 प्रवासी श्रमिक रूके हुए है। उन्होने बताया कि ग्राम पंचायत द्वारा पुरी मदद मिल रही है। खाने-नास्ता और सब्जी की व्यवस्था पंचायत के सहयोग से भोजन कराया जाता है। प्रवासी श्रमिकों में रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए योगा अभ्यास कराया जाता है। भोजन परोसते समय स्वच्छता का विशेष ख्याल रखा जा रहा है।
———————————————————————————————————————
———————————————————————————————————————
|| समाचार एवं विज्ञापन हेतु संपर्क करे –newscg9@gmail.com ||

About NewsDesk

NewsDesk